एलन मस्क के नेतृत्व वाले स्पेसएक्स के फाल्कन 9 रॉकेट ने 19 नवंबर को तड़के अमेरिका के केप कैनावेरल से भारत के भारी संचार उपग्रह जीसैट -20 (जीसैट एन -2) को सफलतापूर्वक लॉन्च किया।
फाल्कन 9 ने फ्लोरिडा के केप कैनावेरल स्पेस फोर्स स्टेशन से 19 नवंबर को 12:01 बजे उड़ान भरी और एनएसआईएल के जीसैट-एन 2 को स्पेस लॉन्च कॉम्प्लेक्स 40 (एसएलसी -40) से जियोसिंक्रोनस ट्रांसफर ऑर्बिट में डाल दिया। यह मस्क के स्पेसएक्स के साथ भारत का पहला सहयोग है।इसरो के अनुसार, उपग्रह 32 उपयोगकर्ता बीम से लैस है, जिसमें पूर्वोत्तर क्षेत्र में 8 संकीर्ण स्पॉट बीम और शेष भारत में 24 वाइड स्पॉट बीम शामिल हैं। इन 32 बीमों को मुख्य भूमि भारत के भीतर स्थित हब स्टेशनों द्वारा समर्थित किया जाएगा। Ka-Band HTS संचार पेलोड लगभग 48 Gbps का थ्रूपुट प्रदान करता है।
जीसैट एन -2 उपग्रह में न्यूस्पेस इंडिया लिमिटेड (एनएसआईएल) के का-का ट्रांसपोंडर हैं, जो इसरो की वाणिज्यिक शाखा है। 48 जीबीपीएस थ्रूपुट के साथ 32 बीम की इसकी क्षमता अंडमान और निकोबार और लक्षद्वीप द्वीपों सहित भारत को कवर करेगी और देश की ब्रॉडबैंड और इनफ्लाइट और समुद्री दूरसंचार कनेक्टिविटी (आईएफएमसी) सेवा आवश्यकताओं को पूरा करेगी।
एनएसआईएल ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, 4700 किलोग्राम वजनी जीसैट-एन2 को वांछित भू-समकालिक स्थानांतरण कक्षा (जीटीओ) में इंजेक्ट किया गया है और इसरो की मुख्य नियंत्रण सुविधा (एमसीएफ) ने उपग्रह का नियंत्रण अपने हाथ में ले लिया है। प्रारंभिक आंकड़ों से संकेत मिलता है कि उपग्रह अच्छे स्वास्थ्य में है।

Author: saryusandhyanews
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